PM Fasal Bima Yojana राष्ट्रीय फसल बीमा योजना || राष्ट्रीय फसल बीमा योजना के उद्देश्य एवं विशेषताएं
राष्ट्रीय फसल बीमा योजना केंद्र सरकार के द्वारा भारत के किसानो के लिए शुरू की गई योजना है इसमें यदि किसान की फसल नष्ट होती है और यदि उसने इस बीमा योजना में अपनी फसल का बीमा कराया है तो उसे वित्तीय सहायता दी जाती है
यह योजना कब शुरू हुई – राष्ट्रीय बीमा योजना 22 जून 1999 को शुरू हुई थी यह केंद्र सरकार की योजना है और इस योजना में फसलो का बीमा किया आता है इसके बाद यदि किसी कारण से फसल नष्ट हो जाती है या खराब हो जाती है तो बीमा कंपनी किसान के नुक्सान की भरपाई करती है इसलिए किसानो के लिए यह योजना बहुत लाभकारी है और इस कारण से ही केंद्र सरकार ने इस योजना को शुरू किया
राष्ट्रीय फसल बीमा योजना में कौन कौन से फसलो का बीमा होता है
इस बीमा योजना में निम्नलिखित फसलो का बीमा होता है जैसे खाद्यान्न फसलो में – अनाज गेहूं , धान , मोटा अनाज ने ज्वार , बाजरा , कोदो , दलहन फसल , तिलहन फसल इसके अलावा नगधी फसलो में कपास , गन्ना , आलू , मिर्च , प्याज , अदरक , हल्दी , जूट , केला , अनानास आदि फसलो का बीमा इस योजना में किया जा सकता है और यदि इसके बाद फसलो को नुक्सान होता है तो इसकी भरपाई बीमा कंपनी करती है
राष्ट्रीय फसल बीमा योजना भारत में कहाँ कहाँ लागू है
यह केंद्र सरकार की योजना है वैसे तो यह भारत के सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशो में लागू है पर यह ऐच्छिक स्कीम है इसका अर्थ है की जो राज्य या केंद्र शासित प्रदेश चाहे वह लागू करने जो ना चाहे ना करे
राष्ट्रीय फसलबीमा योजना की पात्रता क्या है
इस बीमा योजना के लिए सम्पूर्ण भारत के सभी किसान योग्य है जो की अधिसूचित फसल अपने खेत में लगाते है जैसे – खाद्यान्न फसलो में – अनाज गेहूं , धान , मोटा अनाज ने ज्वार , बाजरा , कोदो , दलहन फसल , तिलहन फसल इसके अलावा नगधी फसलो में कपास , गन्ना , आलू , मिर्च , प्याज , अदरक , हल्दी , जूट , केला , अनानास आदि भारत का हर वह किसान जो इन फसलो को अपने खेत में बोता है वह इस बीमा योजना का लाभ ले सकता है
राष्ट्रीय फसल बीमा योजना में कौन कौन से जोख़िम कवर किये जाते है
इस बीमा योजना में किसानो की फसल को इन जोखिमो से कवर किया जाता है तूफ़ान , आग लगना , बिजली गिरना , ओलावृष्टि , चक्रवात , समुद्री तूफ़ान , बाढ़ , सुखा पड़ना , कीटो का आक्रमण आदि यदि इन कारणों से किसानो की फसल को नुक्सान होता है और किसान ने अपनी फसल का बीमा कराया है तो इस नुक्सान की भरपाई बीमा कम्पनी के द्वारा की जाती है
राष्ट्रीय फसल बीमा योजना में कितने का बीमा होता है
यदि कोई किसान इस योजना के तहत अनाज की फसल जैसे गेंहू, धान आदि फसलो का बीमा करवाता है तो उसे बीमित राशि का 1.5% मिलता है जबकि यदि वह ज्वार, बाजरा आदि फसलो का बीमा करवाता है तो उसे बीमित राशि का 2.3% मिलता है
राष्ट्रीय फसल बीमा योजना में सरकार कितना अनुदान देती है
यदि कोई लघु या सीमान्त कृषक इस योजना के अंतर्गत अपनी फसल का बीमा करवाता है तो सरकार उसे 10% तक का अनुदान देती है अर्थात उसे केवल 90% राशि जमा करनी होती है 10% राशि सरकार देती है
राष्ट्रीय फसल बीमा कैसे कराएँ
यदि आप भी एक किसान है और सरकार के द्वारा अधिसूचित कोई फसल अपने खेत में लगाते है और आप भी अपनी फसलो का बीमा कराना चाहते है तो यह बीमा बैंक के माध्यम से करा सकते है इसलिए आप अपने नजदीकी राष्ट्रीयकृत बैंक जैसे जिला सहकारी बैंक , ग्रामीण बैंक , एस बी आई बैंक आदि में जाएँ और वहाँ पब्लिक रिलेशन आफिसर से संपर्क करें और अपने बारे में बताएं वह जल्दी से जल्दी आपकी फसल का बीमा कराने में मदद करेंगे
राष्ट्रीय फसल बीमा योजना का क्या लाभ है
यदि किसान इस बीमा योजना का उपयोग करके अपनी फसल का बीमा करवाता है तो बहुत ही कम राशि में उसकी फसल का बीमा हो जाता है लेकिन याद रहे की बीमा केवल उन्ही फसलो का होता ही जो अधिसूचित है जैसे खाद्यान्न फसलो में – अनाज गेहूं , धान , मोटा अनाज ने ज्वार , बाजरा , कोदो , दलहन फसल , तिलहन फसल इसके अलावा नगधी फसलो में कपास , गन्ना , आलू , मिर्च , प्याज , अदरक , हल्दी , जूट , केला , अनानास आदि फसलो का बीमा हो जाने के बाद यदि तूफ़ान , आग लगना , बिजली गिरना , ओलावृष्टि , चक्रवात , समुद्री तूफ़ान , बाढ़ , सुखा पड़ना , कीटो का आक्रमण आदि के कारण किसान की फसल को नुकसान होता है तो इस स्थिति में बीमा कंपनी के द्वारा किसानो को मुआवजा की राशि दी जाती है जिससे की किसान का नुकसान नहीं होता है